Preface
हमारे गुरु के इशारे पर हम कठपुतली के तरीके से नाचते रहे ।। उनके इशारे का हमको ध्यान है ।। आज युगदेवता का, महाकाल का इशारा यह है कि हमको जनजाग्रति के लिए काम करना चाहिए ।। हमको नवयुग लाने के लिए घर- घर में संदेश पहुँचाना चाहिए ।। विचार क्रांति अभियान आज की सबसे बड़ी आवश्यकता है, क्योंकि इस युग की सभी समस्याएँ इसलिए पैदा हुई हैं कि आदमी की अक्ल खराब हो गई है ।। न पैसा कम है, न कोई चीज कम है ।। अक्ल खराब है ।। अक्ल ठीक करने के लिए हमको विचार क्रांति में हिस्सा लेना चाहिए ।। व्यक्ति और समाज, देश और धर्म- संस्कृति के लिए मानवीय भविष्य को उज्ज्वल बनाने के लिए हमको एक काम करना चाहिए कि ज्ञानयज्ञ के विस्तार के लिए पूरी कोशिश करें, प्रयास करें ।। घर- घर में जाएँ, जन- जन के पास जाएँ, अलख जगाए, नवयुग का संदेश सुनाएँ और यह कहें कि आदमी को कृपणता छोड़नी चाहिए ।। अपनी मनःस्थिति को ऊँचा बनाना चाहिए ।। चिंतन और चरित्र में उँचाइयों का, उत्कृष्टता का समावेश करना चाहिए ।। क्रिया- कलापों में आदर्शवादिता का समन्वय करना चाहिए यही हमारा विचार क्रांति अभियान है ।।
मित्रो ! अक्ल को बढ़ाने के लिए जनमानस के परिष्कार के लिए युग देवता ने, महाकाल ने पुकार लगाई है ।। अगर आप कृपणता को त्यागने के लिए तैयार हों, सेवावृत्ति के लिए उदारता है तैयार हों तो मैं आपसे वायदा करता हूँ कि गायत्री माता का वह चमत्कार जो ऋषियो को मिला था, ब्राह्मणों के मिला था और हमको मिला है- उसका लाभ आप भी उठा सकेगें ।।
Table of content
1.ज्ञान यज्ञ प्रचारक बनें
Author |
Pt Shriram sharma acharya |
Edition |
2014 |
Publication |
Yug nirman yojana press |
Publisher |
Yug Nirman Yojana Vistara Trust |
Page Length |
16 |
Dimensions |
12 cm x 18 cm |