Preface
प्रगतिशीलता किसी के शौर्य पराक्रम का चिह्न मानी जाती रही है । सामान्य मनुष्य में जो गुण पराक्रम होने चाहिए उससे एक कदम आगे बढ़कर जो अपनी विशेषता प्रदर्शित कर सके उसे पराक्रमशाली प्रगतिशील कहा जाता है, किंतु वे पुरातन परिभाषाएं उल्टी हो गई हैं । जो वर्जनाओं की अवज्ञा करे, उनका उलंघन करे, उन्हें प्रगतिशील कहा जाने लगा। सही परिभाषा के अनुसार गुण, कर्म, स्वभाव में जो अनुकरणीय विशेषता प्रदर्शित करे, अपने बल पराक्रम का शौर्य साहस का प्रदर्शन जिन कामों में हो उन्हें विशिष्ट माना जाता है और प्रशंसनीय भी ।
Table of content
1. नशेबाजी की आत्मघाती लत
2. नशेबाजी भौंडी आत्महत्या
Author |
Pt. shriram sharma |
Publication |
yug nirman yojana press |
Publisher |
Yug Nirman Yojana Vistara Trust |
Page Length |
32 |
Dimensions |
9 cm x 12 cm |